चेहरे की इबारत
चेहरे की इबारत को छुपा लेना जग से
इसकी लाली से जल जाता है जहाँ अकसर
बातूनी हैं आँखें, इन्हें ढक लेना आँचल से
राज़ फ़ाश न हो जाएं तेरे नैनो की चमक से
मुलाक़ात खबर बन जाए तो क़यामत समझूं
मोहब्बत में असर आ जाए तो नज़ाक़त समझूं
दुनिया को अदावत है फ़क़ीरी-ए-मोहब्बत से
तुझसे झोली मेरी भर जाए, तो इबादत समझूं
बातूनी हैं आँखें, इन्हें ढक लेना आँचल से
राज़ फ़ाश न हो जाएं तेरे नैनो की चमक से
मुलाक़ात खबर बन जाए तो क़यामत समझूं
मोहब्बत में असर आ जाए तो नज़ाक़त समझूं
दुनिया को अदावत है फ़क़ीरी-ए-मोहब्बत से
तुझसे झोली मेरी भर जाए, तो इबादत समझूं
आंखों से उतर आया था, कोई मेरे दिल में
मैं खारा समंदर था, वो प्यासा मेरे साहिल पे
उसकी छुअन ने मुझे मीठा नीर बना डाला
ग़म के समंदर को मुकम्मल शरीर बना डाला
अब वो मेरी आदत हुई और मैं मजबूर ख़ुद से
मैं तदबीर हुआ मेरा और जुड़ी तक़दीर उससे
यहां वक़्त भी उल्टे पांव चलने लगा है अब तो
जितना पास था पहले, अब कहीं दूर हूं उससे
अब वो मेरी आदत हुई और मैं मजबूर ख़ुद से
मैं तदबीर हुआ मेरा और जुड़ी तक़दीर उससे
यहां वक़्त भी उल्टे पांव चलने लगा है अब तो
जितना पास था पहले, अब कहीं दूर हूं उससे
'आवाज़'
Har simt, har sam'aa Awaz pahunche
ReplyDeleteHar dil ko chhu jaaye raftaar se pahunche..Ameen ya Rabbi
Amin!!
DeleteAisa shayad he koi shakhs ho jo is gazal ko paḍhe or uske dil mai na utre...aksar tumhari dil chu jaane wali ġazle aaṅkheṅ num kar jaati hain👏
ReplyDeleteSam'aa means ears
ReplyDeleteAmin!!
ReplyDeleteThanq sooo muchhh!!!